Dr. Bhim Rao Ambedkar - A Short Description About Baba Saheb By Engineer Suraj Mottan/ Suraj Sir
डॉ. भीमराव अंबेडकर के विचार भारतीय समाज और राजनीति पर गहरा प्रभाव डालते हैं। उनके विचार न केवल दलितों और समाज के दबे-कुचले वर्ग के लिए, बल्कि समग्र समाज के लिए भी अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। कुछ प्रमुख अंबेडकर विचार इस प्रकार हैं:
1. समानता का सिद्धांत: अंबेडकर का मानना था कि समाज में समानता सबसे महत्वपूर्ण है। वे मानते थे कि हर व्यक्ति को समान अधिकार मिलना चाहिए, चाहे वह किसी भी जाति, धर्म या वर्ग से हो।
2. जातिवाद का विरोध: डॉ. अंबेडकर ने भारतीय समाज में जातिवाद की कड़ी निंदा की। उनका कहना था कि जातिवाद मानवता के लिए एक बाधा है और इसे समाज से समाप्त करना चाहिए।
3. शिक्षा का महत्व: अंबेडकर हमेशा शिक्षा को समाज में बदलाव लाने का एक प्रभावी साधन मानते थे। उनका कहना था कि "शिक्षा सबसे शक्तिशाली हथियार है, जिसका उपयोग आप दुनिया को बदलने के लिए कर सकते हैं।"
4. संविधान का महत्व: भारतीय संविधान के निर्माता के रूप में डॉ. अंबेडकर ने इसे भारतीय समाज में समानता और स्वतंत्रता की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना। उनका मानना था कि संविधान के माध्यम से भारतीय समाज में सामाजिक न्याय प्राप्त किया जा सकता है।
5. धर्म और समता: डॉ. अंबेडकर ने हिंदू धर्म में व्याप्त जातिवाद के कारण बौद्ध धर्म को अपनाया। उनका कहना था कि धर्म का उद्देश्य मानवता को प्रोत्साहित करना चाहिए, न कि समाज में भेदभाव फैलाना।
6. आत्मनिर्भरता: अंबेडकर ने हमेशा आत्मनिर्भरता की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने यह सिखाया कि किसी भी व्यक्ति को अपने अधिकारों और कर्तव्यों का पालन करते हुए समाज में एक आदर्श नागरिक बनना चाहिए।
इन विचारों ने भारतीय समाज में जागरूकता फैलाने का कार्य किया और आज भी उनके विचार सामाजिक समानता और न्याय की दिशा में प्रेरणा का स्रोत बने हुए हैं।
*ENGINEER SURAJ MOTTAN*
*Managing Director @LAKSHYA INSTITUTE -R.S.PURA*
*J&K GOVT. REGD.*
*NAMO BUDDHAY | JAI BHIM*
NAMO BUDDHAY ✓ JAI BHIM
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